आसाराम के गुरुकुल में पढ़ने वाली एक नाबालिग छात्रा ने आरोप लगाया था कि पंद्रह अगस्त 2013 को आसाराम ने जोधपुर के निकट मणाई गांव में स्थित एक फार्म हाउस में उसका यौन उत्पीड़न किया। इसी मामले में आसाराम को आजीवन कारावास की सजा सुनाई गई है। —- बीस अगस्त 2013 को आसाराम के खिलाफ दिल्ली के कमला नगर पुलिस थाने में मामला दर्ज कराया गया। जोधपुर का मामला होने के कारण दिल्ली पुलिस ने प्राथमिकी दर्ज कर जांच करने के लिए उसे जोधपुर भेजा। जोधपुर पुलिस ने आसाराम के खिलाफ नाबालिग का यौन उत्पीड़न करने का मामला दर्ज किया। जोधपुर पुलिस 31 अगस्त 2013 को इन्दौर से आसाराम को गिरफ्तार कर जोधपुर ले आई। उसके बाद से आसाराम लगातार जोधपुर जेल में ही बंद है। 25 अप्रैल 2018 को ट्रायल कोर्ट ने आसाराम को आजीवन कारावास की सजा सुनाई। उसकी तरफ से उच्चतम व उच्च न्यायालय सहित जिला न्यायालय में 15 से अधिक बार जमानत हासिल करने के प्रयास किए गए। राम जेठमलानी, सुब्रहमण्यम स्वामी, सलमान खुर्शीद सहित देश के कई जाने माने विधिवेत्ता ने आसाराम की पैरवी की लेकिन किसी कोर्ट ने उसे जमानत नहीं दी।